Indicators on shiv chalisa in hindi lyrics You Should Know
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शिवजी की पूजा मूर्ति तथा शिवलिंग दोनों रूपों में की जाती है शिव के गले में नाग देवता विराजमान करते हैं तथा उनके हाथों में डमरू और त्रिशूल होता है.
क्षम्यतां नाथ, अधुना अस्माकं दोषः अस्ति।
धन निर्धन को देत सदाहीं । जो कोई जांचे वो फल पाहीं ॥
अर्थ- हे नीलकंठ आपकी पूजा करके ही भगवान श्री रामचंद्र लंका को जीत कर उसे विभीषण को सौंपने में कामयाब हुए। इतना ही नहीं जब श्री राम मां शक्ति की पूजा कर रहे थे और सेवा में कमल अर्पण कर रहे थे, तो आपके ईशारे पर ही देवी ने उनकी परीक्षा लेते हुए एक कमल को छुपा लिया।
साधु संत के तुम रखवारे।। असुर निकन्दन राम दुलारे।।
मैना मातु की हवे दुलारी। बाम अंग सोहत छवि न्यारी॥
अर्थ- हे प्रभु वैसे तो जगत के नातों में माता-पिता, भाई-बंधु, नाते-रिश्तेदार सब होते हैं, लेकिन विपदा पड़ने पर कोई भी साथ नहीं देता। हे स्वामी, बस आपकी ही आस है, आकर मेरे संकटों को हर लो।
स्वामी एक है आस तुम्हारी। आय हरहु मम संकट भारी॥
अस्तुति चालीसा शिवहि, पूर्ण कीन कल्याण॥
जय जय जय अनन्त अविनाशी। करत कृपा सब के घटवासी॥
मैना मातु की ह्वै दुलारी। बाम अंग सोहत छवि न्यारी॥
जय हनुमान ज्ञान गुन सागर । जय कपीस तिहुँ लोक उजागर ॥ राम दूत अतुलित बल धामा
अपना मुंह पूर्व read more दिशा में रखें और कुशा के आसन पर बैठ जाएं।
पार्थिव शिवलिंग पूजन सामग्री – पार्थिव शिवलिंग रुद्राभिषेक कैसे करते है